Love ट्रायंगल,बेंगलुरु महालक्ष्मी मर्डर केस की पूरी कहानी।
बेंगलुरु का बयाली काबल इलाका 6 क्रॉस पाइपलाइन रोड पर मौजूद एक तीन मंजिला बिल्डिंग और उस इमारत के कमरे में रखा 165 लीटर मॉडल का एक सिंगल डोर फ्रिज उसे फ्रिज में पूरे 19 दिनों तक 29 साल की महालक्ष्मी की लाश के करीब 30 से 40 टुकड़े बंद इसके अलावा भी कई टुकड़े फ्रिज के बाहर उसे कमरे के फर्श पर बिखरे पड़े थे खुद बेंगलुरु पुलिस को याद नहीं कि उन्होंने इससे पहले कभी इतना खौफनाक मंजर या क्राइम सीन दिखा शुरुआत में तो खुद पुलिस वाले इस कमरे में जाने की बजाय उल्टे पांव लौट गए थे कमरे में टुकड़ों की शक्ल में सबूत ऐसे बिखरे पड़े थे कि बेंगलुरु की फोरेंसिक टीम को भी उसे समेटने के लिए सरकारी अस्पताल के मेडिकल स्टाफ को बुलाना पड़ा। बेंगलुरु के महालक्ष्मी हत्याकांड की एक ऐसा हत्याकांड जिसने दिल्ली के श्रद्धा वकार मर्डर केसकी याद की ताजा कर दी 27 साल की श्रद्धा को उसके प्रेमी और लिविंग पार्टनर आफताब अमीन पूनावाला ने 18 में 2022 को मार डाला था इसके बाद उसने श्रद्धा की लास ठिकाने का जो तरीका अपनाया उसे जानकर पुलिस ही नहीं बल्कि पूरा देश सन रह गया था ठीक उसी तरह बेंगलुरु में दूसरों का कत्ल करके उसकी लाश के टुकड़ों को फ्रिज में छिपाया गया था
टुकड़ों में काटा कि पड़ोसियों को भनक तक नहीं लगी वारदात का खुलासा कमरे से उठ रही तेज बदबू से हुआ बगल के कमरे में रहने वाले शख्स ने मकान मालिक को इसकी जानकारी दी
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मकान मालिक ने महालक्ष्मी दूकी मां को इत्तिला किया कुछ घंटे में दूसरों की बहन मां और भाई मौके पर पहुंच गए मकान मालिक और पड़ोसियों की मौजूदगी में घर का दरवाजा खोला गया लेकिन दरवाजा खुलते ही अंदर से इतनी तेज बदबू आई की सभी पीछे हट गए कुछ देर बाद हिम्मत कर फिर से वह अंदर गए फर्श पर हर तरफ खून के निशान थे मांस के छोटे-छोटे लोथड़े यहां वहां पड़े थे और खून की एक सूखी हुई लकीर कमरे में रखी हुई थी फ्रिज तक जा रही थी जैसे ही फ्रिज का दरवाजा खुला एक चीज के साथ सभी लोग उल्टे पैर कमरे से बाहर की तरफ उसे एक पल में उन्होंने जो कुछ भी फ्रिज के अंदर देखा वह दहलाने वाला था इसी बीच मकान मालिक ने पुलिस को सूचना दी आनंद आनंद में बेंगलुरु पुलिस की एक्टिव मौके पर पहुंची लेकिन कैमरे से इतनी तेज बदबू आ रही थी कि पुलिस वाले अंदर नहीं जा सके डबल मास्क पहनकर पुलिस वाले कमरे में दाखिल हुए सामने रखें फ्रिज का दरवाजा खुला था जिसमें सब कुछ साफ दिख रहा था सबसे ऊपरी खाने में दो इंसानी पैर रखे थे बीच के खाने में इंसानी जिस्म के अलग-अलग हिस्से और सबसे निचले खाने में रखा था एक सिर जो की महालक्ष्मी का था क्राइम सीन से एविडेंस कलेक्ट करने के लिए फोरेंसिक टीम को बुलाया गया रोग रसिक वालों के लिए भी यह अजीब क्राइम सीन से सबूत बटोरना बेहद मुश्किल था फोरेंसिक टीम ने बोरिंग अस्पताल के मुर्दाघर से स्टाफ बुलाया इसके बाद ही फ्रिज से लेकर फर्स्ट तक पर जो लास्ट बिक्री थी उन टुकड़ों को समेटा गया इस दौरान वहां मौजूद लोगों को अंदाजा हुआ की लास्ट के टुकड़ों की तादाद 30 से 40 की दरमियां है
लास्ट के टुकड़े समेटने के बाद पुलिस ने कमरे की तलाशी बेड पर एक मोबाइल मिला जो दूसरों का था मोबाइल ऑन करके कॉल डिटेल रिकॉर्ड चेक की गई तो पता चला कि मोबाइल से आखरी कॉल 2 सितंबर को की गई थी 2 सितंबर के बाद से ना तो इस फोन से कोई कॉल की गई और ना ही कोई कॉल रिसीव की गई इसी से बेंगलुरु पुलिस ने अंदाजा लगाया कि दूसरों का कत्ल 2 से 3 सितंबर के दरमियान हुआ है जबकि कमरे का दरवाजा 19 दिन बाद यानी 21 सितंबर की दोपहर 3:30 बजे खोला गया ।
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आखिर किसी की उससे क्या दुश्मनी थी बेंगलुरु पुलिस ने मामले की तपती शुरू की महालक्ष्मी की मां और बहन से शुरुआती पूछताछ में मालूम चला कि 2019 तक पूरा परिवार नेपाल में ही रहता था इस साल दूसरों की शादी हेमंत दास नाम के शख्स से हुई शादी के बाद दोनों लोग रोजगार और बेहतर जिंदगी की तलाश में नेपाल से बेंगलुरु पहुंचे दूसरों को एक बड़े मॉल की कॉस्मेटिक शॉप में बताओ सेल्स वूमेन टीम लीडर की नौकरी मिल गई दोनों पति पत्नी बेंगलुरु के नीला मंगला इलाके में किराए के घर में रहते थे बाद में दोनों की एक बेटी हुई साल 2023 तक उनकी जिंदगी में सब कुछ ठीक था लेकिन 2023 में हेमंत और दूसरों अलग हो गए बेटी हेमंत दास के साथ रहती थी जबकि महालक्ष्मी पिछले 5 महीने से वाली व्याली कवल इलाके में किराए के मकान में रह रही थी
वह भी अकेली हर 15 दिन या महीने में एक बार वह अपनी बेटी से मिलने हेमंत के घर जाकर बीच दूरी की वजह थी लव ट्रायंगल दरअसल हेमंत को शक था कि उसकी पत्नी का अशरफ नाम के लड़के से अफेयर चल रहा है अशरफ उत्तराखंड का रहने वाला है वह बेंगलुरु में रहकर हेयर ड्रेसर का काम करता है इसी बात को लेकर हेमंत और दूसरों के बीच अक्सर झगड़ा होता था इसी झगड़े की वजह से तकरीबन 9 महीने पहले दूसरों अपने पति हेमंत से अलग रहने लगी थी पहले कुछ दिनों तक मां और छोटी बहन के साथ रही और फिर 5 महीने पहले किराए के घर में शिफ्ट हो गई थी पड़ोसियों के मुताबिक महालक्ष्मी आज पड़ोस में ज्यादा लोगों से बात चीत नहीं करती थी वह किसी से बात भी नहीं करती थी रोजाना सुबह 9:30 बजे काम पर जाती और रात 10:30 बजे बाद घर लौट कर आती थी पड़ोसियों ने कई बार एक अजनबी शख्स को दूसरों को घर से पिक और ड्रॉप करते जरूर देखा था लेकिन वह शख्स कौन था कोई नहीं जानता था।
बेंगलुरु पुलिस के मुताबिक वह इस बात का पता लगाने की कोशिश कर रही है
महालक्ष्मी का मर्डर कब हुआ था और कब पता चल रहा है।
महालक्ष्मी का मर्डर 2 सितंबर को हुआ था और इसका पता 19 सितंबर को चला उनके फोन के कॉल डिटेल के से पता लगाया गया है।